ब्रेकिंग
दिल्ली सीमा पर डटे किसानों को हटाने पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई, CJI बोले- बात करके पूरा हो सकता है मकसद UP के अगले विधानसभा चुनाव में ओवैसी-केजरीवाल बिगाड़ सकते हैं विपक्ष का गणित सावधान! CM योगी का बदला मिजाज, अब कार से करेंगे किसी भी जिले का औचक निरीक्षण संसद का शीतकालीन सत्र नहीं चलाने पर भड़की प्रियंका गांधी पाक सेना ने राजौरी मे अग्रिम चौकियों पर गोलीबारी की संत बाबा राम सिंह की मौत पर कमलनाथ बोले- पता नहीं मोदी सरकार नींद से कब जागेगी गृह मंत्री के विरोध में उतरे पूर्व सांसद कंकर मुंजारे गिरफ्तार, फर्जी नक्सली मुठभेड़ को लेकर तनाव मोबाइल लूटने आए बदमाश को मेडिकल की छात्रा ने बड़ी बहादुरी से पकड़ा कांग्रेस बोलीं- जुबान पर आ ही गया सच, कमलनाथ सरकार गिराने में देश के PM का ही हाथ EC का कमलनाथ के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने का आदेश, चुनाव में पैसे के गलत इस्तेमाल का आरोप

बलूच कार्यकर्ता शब्बीर को गायब हुए आज 4 साल पूरे, कनाड़ा कार्यकर्ताओं ने बलूचिस्तान में रिहाई के लिए किए प्रदर्शन

टोरंटो। पाकिस्तान द्वारा बलूच लोगों पर लगातार अत्याचार की खबरें आती रहती हैं, जिसके खिलाफ यह लोग अपनी आवाज उठाते रहते हैं। अब कनाड़ा बलूच राइट्स कार्यकर्ताओं (Canadian Baloch rights activists) ने पाकिस्तान द्वारा किए जा रहे अत्याचारों के खिलाफ बलूचिस्तान में विरोध-प्रदर्शन किया है।

दरअसल, यह कार्यकर्ता उनके एक नेता के शब्बीर बलूच (Shabbir Baloch) के गायब होने पर प्रदर्शन कर रहे हैं। शब्बीर को बलूचिस्तान से 4 अक्टूबर 2016 को गिरफ्तार गया था। आज यानी 4 अक्टूबर को उनके नेता को गायब हुए 4 साल हो गए हैं। ऐसे में सभी कार्यकर्ताओं ने मांग करते हुए कहा कि पाकिस्तान शब्बीर बलूच के साथ-साथ सभी गायब हुए लोगों को तत्काल रिहा कर दे। बलूचियों द्वारा किए जा रहे इस प्रदर्शन में वर्ल्ड सिंधी कांग्रेस और पशतुन तहफुज आंदोलन के कार्यकर्ताओं ने कनाड़ा में हिस्सा लिया।

टोरंटो में किए जा रहे विरोध प्रदर्शन में शब्बीर को रिहा किए जाने के लेकर मांग की गई। इसके साथ ही पाकिस्तान द्वारा किए जा रहे अत्याचार को भी खत्म करने पर अड़े रहे। एक बलूच कार्यकर्ता ने ट्विटर पर इस बारे में लिखा। इसके अलावा इस कार्यकर्ता ने एक वीडियो शेयर किया है। इस वीडियो में लिखा कि हम शब्बीर की रिहाई के लिए यहां इकट्ठा हुए हैं।

पाकिस्तान आर्मी द्वारा साल  2016 में उनके कार्यकर्ता को अगवा किया गया था। आज उन्हें  गायब हुए चार साल हो गए हैं। उनकी याद में आज हम यहां पर एकजुट हुए हैं। शब्बीर अहमद बलूचिस्तान विश्वविद्यालय का छात्र है। और बीएसओ आज़ाद के सचिव भी है। इस वीडियो में आगे कहा गया कि पाकिस्ताना आर्मी को छात्र से क्या दिक्कत है। क्या ये छात्र बलूचिस्तान लोगों के अधिकारों की आवाज उठाते हैं इसलिए उन्हें गिरफ्तार किया जाता है।

बता दें कि शब्बीर को कथित रूप से पाकिस्तानी सेना ने 4 अक्टूबर, 2016 को गोवारकोप से अगवा कर लिया था। इस दौरान कई अन्य लोगों को भी अगवा किया गया था।

टोरंटो, एएनआइ। पाकिस्तान द्वारा बलूच लोगों पर लगातार अत्याचार की खबरें आती रहती हैं, जिसके खिलाफ यह लोग अपनी आवाज उठाते रहते हैं। अब कनाड़ा बलूच राइट्स कार्यकर्ताओं (Canadian Baloch rights activists) ने पाकिस्तान द्वारा किए जा रहे अत्याचारों के खिलाफ बलूचिस्तान में विरोध-प्रदर्शन किया है।

दरअसल, यह कार्यकर्ता उनके एक नेता के शब्बीर बलूच (Shabbir Baloch) के गायब होने पर प्रदर्शन कर रहे हैं। शब्बीर को बलूचिस्तान से 4 अक्टूबर 2016 को गिरफ्तार गया था। आज यानी 4 अक्टूबर को उनके नेता को गायब हुए 4 साल हो गए हैं। ऐसे में सभी कार्यकर्ताओं ने मांग करते हुए कहा कि पाकिस्तान शब्बीर बलूच के साथ-साथ सभी गायब हुए लोगों को तत्काल रिहा कर दे। बलूचियों द्वारा किए जा रहे इस प्रदर्शन में वर्ल्ड सिंधी कांग्रेस और पशतुन तहफुज आंदोलन के कार्यकर्ताओं ने कनाड़ा में हिस्सा लिया।

टोरंटो में किए जा रहे विरोध प्रदर्शन में शब्बीर को रिहा किए जाने के लेकर मांग की गई। इसके साथ ही पाकिस्तान द्वारा किए जा रहे अत्याचार को भी खत्म करने पर अड़े रहे। एक बलूच कार्यकर्ता ने ट्विटर पर इस बारे में लिखा। इसके अलावा इस कार्यकर्ता ने एक वीडियो शेयर किया है। इस वीडियो में लिखा कि हम शब्बीर की रिहाई के लिए यहां इकट्ठा हुए हैं।

पाकिस्तान आर्मी द्वारा साल  2016 में उनके कार्यकर्ता को अगवा किया गया था। आज उन्हें  गायब हुए चार साल हो गए हैं। उनकी याद में आज हम यहां पर एकजुट हुए हैं। शब्बीर अहमद बलूचिस्तान विश्वविद्यालय का छात्र है। और बीएसओ आज़ाद के सचिव भी है। इस वीडियो में आगे कहा गया कि पाकिस्ताना आर्मी को छात्र से क्या दिक्कत है। क्या ये छात्र बलूचिस्तान लोगों के अधिकारों की आवाज उठाते हैं इसलिए उन्हें गिरफ्तार किया जाता है।

बता दें कि शब्बीर को कथित रूप से पाकिस्तानी सेना ने 4 अक्टूबर, 2016 को गोवारकोप से अगवा कर लिया था। इस दौरान कई अन्य लोगों को भी अगवा किया गया था।

Comments are closed, but trackbacks and pingbacks are open.